EPS- 95 हायर पेंशन को लेकर पेंशनभोगियों का गुस्सा चरम सीमा पर है। महाराष्ट्र में EPS-95 पेंशनर्स की बैठक आयोजित की गई थी। इस बैठक में पेंशनधारकों ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा हायर पेंशन को लेकर जो आवश्यक दिशा-निर्देश जारी किये गए थे उससे लाखों पेंशनधारकों में पेंशन बढ़ोतरी की एक आश जगी थी लेकिन केंद्र सरकार और EPFO की मनमानी की वजह से पेंशनधारकों की उम्मीद को बहुत झटका लगा है।
पेंशनधारकों का डेटा मँगाया जा रहा
सुप्रीम कोर्ट के दिये गए फैसले के डेढ़ साल बीत जाने के बाद भी अभी तक केवल हायर पेंशन के लिए पेंशनधारकों का डेटा मांगा जा रहा है। अब EPFO ने 31 मई 2024 तक का समय माँगा है। पेंशनधारकों का कहना है कि EPFO का कुछ भरोसा नही है कब और समय माँग ले। EPFO अब तक 4 बार समय बढ़ाने की माँग कर चुकी है, अब ऐसा लग रहा है कि 2024 में लोकसभा चुनाव बीत जाने के बाद इस पूरी प्रक्रिया को रोक दिया जाएगा।
हायर पेंशन को लेकर नया कानून
इस लेट लतीफी के कारण मौजूदा पेंशनधारी और अन्य कर्मचारी टेंशन में है कि आनेवाले दिनों में हमारी हायर पेंशन का क्या होगा ? पेंशनभोगी तो अब यहां तक चर्चा करने लगे हैं कि यदि मौजूदा केंद्र सरकार की फिर से सत्ता में वापसी होती है तो सुप्रीम कोर्ट के फैसले को नहीं माना जाएगा और केंद्र सरकार हायर पेंशन न देने के संदर्भ में कोई नया कानून ले आएगी।
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केंद्र सरकार ने ही बंद किया पेंशन स्कीम
FCI रिटायर पेंशनभोगी श्री नामदेव ने कहा कि मौजूदा केंद्र सरकार एवं उनके कुछ चमचे शुरू से ही पेंशन स्कीम के विरोध में रहे हैं। उनकी चले तो वे पेंशन को बंद कर दे। उनका हमेशा से यही मानना है कि पेंशन एक उपकार है इसलिए रिटायर होने के बाद पेंशन देने की आवश्यकता नहीं है, ऐसे ही तर्कों के चलते पुरानी पेंशन को बंद कर दिया गया, सेना में भी पेंशन बंद कर दिया गया। इस बार मौजूदा केंद्र सरकार सत्ता में वापसी करती है तो सारी की सारी पेंशन योजनाएं बंद कर सकती है।
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सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद भी नहीं मिला हायर पेंशन
आपको बता दूँ कि हायर पेंशन को लेकर सुप्रीम कोर्ट के सामने पेश किए गए सबूत एवं सभी तर्कों पर गौर करने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने हायर पेंशन देने का फैसला दिया फिर भी डेढ़ साल बीत गए लेकिन हायर पेंशन शुरू नहीं हो सका है, जबकि इस सम्बंध में संसद के दोनों सदनों में विपक्षी दलों के सांसदों ने न्यूनतम पेंशन की राशि को बढ़ाने व हायर पेंशन पर सुप्रीम कोर्ट के निर्णय व निर्देश को शीघ्र लागू करने में देरी पर विरोध व्यक्त करते रहे हैं।
हायर पेंशन में देरी कई प्रश्नों को जन्म देता है क्या कारण हैं ईपीएफओ व केंद्र सरकार क्रियान्वयन करने में इच्छुक नहीं दिख रही हैं?
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कैसे होता है पेंशन का निर्धारण
इस योजना के तहत लाभार्थी की पेंशन की राशि का निर्धारण सेवा की पेंशन योग्य अवधि और पेंशन योग्य वेतन को ध्यान में रखते हुए निम्नलिखित सूत्र के अनुसार किया जाता है।
पेंशन योग्य सेवा X पेंशन योग्य वेतन /70
पेंशनधारक सिखाएगे केंद्र सरकार को सबक
पेंशनधारकों की बैठक में चर्चा के बाद सर्वसम्मति से तय किया गया कि पेंशन को लेकर केंद्र सरकार द्वारा दिए गए टेंशन को ध्यान में रखते हुए इस बार पेंशनधारकों की फौज लोकसभा चुनाव में मौजूदा केंद्र सरकार को सबक सिखाएंगी।
इसके तहत वे हर व्यक्ति के पास जाकर इस बात को बता रहे हैं कि किस तरह पेंशन को लेकर केंद्र सरकार एवं उनके विभागों द्वारा तंग किया जा रहा है। इससे साफ हो गया है कि केंद्र सरकार हायर पेंशन देने की मूड में नहीं है इसीलिए इसका परिणाम लोकसभा चुनाव में दिखेगा।
कोंन opposition party आपको assurance दे रही है कि हायर पेंशन दिलवाएंगे हमे सही रास्ता दिखाए सिर्फ bjp को वोट न देने से पेंशन मिलेगी।
सही बात है, oppositionparty ने हमे क्या आश्वासन दिया है?हमे कोई भडका रहा है तो गलत बात है.
सुप्रीम कोर्ट की अवमानना का खामियाजा आने बाली सरकार भुगतेगी और जिसने अवमानना की वो वरी।धन्य है आपकी सोच।
Minimum पेंशन बड़ाई जाए। हायर पैंशन का इंतजार करते करते तो पेंशनधारी डिमांड जमा करने के बाद भगवान को प्यारे हो जायेंगे।
Bjp sarkar majdur virodhi hai majdur ki pension na badaker ambani adani ka loan maf kar Rahi hai
Vote for NOTA
No party is interested in giving pension to EPFO members
While, higher pension will implement, the pro rata formula should not be taken into account to respect the verdict of Hon’ble Supreme Court of India.
विभिन्न न्यायालयों के आदेशों के बाद भी EPS के अंर्तगत पेंशन नहीं बढ़ाया जाना गरीब पेंशनभोगियो पर अत्याचार है। इस मंहगाई के दौर में 1000 रुपए की पेंशन से क्या होगा, इसके विपरीत विधायकों या फिर एमपी को किस प्रकार पेंशन दी जाती हे सबको पता है। जन हित एवम मानवीय संवेदनाओं के आलोक में सरकार को इस तरफ तरफ तत्काल ध्यान देना चाहिए अन्यथा सरकार को इसका दंड मिलेगा ।
EPFO only buying time & seems not interested in execution. As per Sep-23 news 12 lacs applications approved by the employer out of 17 49 lacs. EPFO can start the next process but time extended for 3 months & in Jan-24 time expended for 5 months. This extension period is extreme abnormal. Lacs of pensioners incurring unwanted interest burden. & loosing the hope. EPFO should start the process immediately publish the final time table.
This pension was formulated by the congress party government. Why they have fixed the existing formula for pension calculations. All politicians are same and only cares for appeasement of their voters .we should not indulge in politics. There are so many issues to decide voting. The INDI alliance is talking for Religious appeasement and did not talk for EPF 95 pensioner.
Ye desh drohi madarchod o ka kam hai jut bolke congress ko jitana chata hai najaej aulad 70 sal se sirf 1200 aur 1600 pension deta hai ye choor congress
Sabi kamgar logo ne desh ki factory me ek din kam band ka eilan karana chahiye. Tabi sarkar aur company kuch karenge.
There is nohope until BJP govt.remain in power
Not wants pension. Within 1 year regular try employeer and employee all paper send to epfo udaipur. Company epfo software error coming. So not wants pension. Return our deposit amt of pension fund. Year wise interest add. Return to us.
Don’t vote to भ्रष्टाचारी जुमलेबाज पार्टी
I am getting Rs.883 as pension money. I request you to pls. Increase this amount as early as possible.
After 2004 any new member of MLA/MP member of parliament stop all kinds of pension that is good for country but all leaders of ignor this point why necessary tolk all this point only leader doing best rest all people of india doing very bad !
BJP IS NOT INTERESTED TO LISTEN ANYTHING ON HIGHER PENSION AS THEY ARE NOT FOR MIDDLE CLASS.
BJP IS FOR BPL CLASS ONLY AS WELL HIGHER CLASS.
NO-ONE IS SUITABLE IN BJP TO LOOK AFTER FINANCE MINISTRY.
Days are passing, Government can’t take desission. The situation very tight in olden age. No any words to explain but request think over the matter without any further delay.
Rulling government is not Implement of supreme Court order so I dout after the Loksabha result, and change the supreme Court order with epfo.
पैंशन पाने का अधिकार सिर्फ विधायको, सांसदों, मंत्रियों और उनके चमचों का हैं जो मात्र पांच साल कार्यकाल मे रहते हैं।
गरिब मजदूर कर्मचारी जो पूरी जिंदगी नौकरी करते है उन्हे पैशन का अधिकार नहीं।
पता नहीं ये कैसा न्याय है सरकार का।
🤬🤬
BJP Sarkar higher pension ke liye Kam Kar rahi ha , covid 19 ke Karan implementation hona ruk gaya Tha, ab 2024 me Kam hoga aur pension bhi badhegi
Govt is deceiving every one I am surprised why demanding pension one should demand for refund the our provident fund asper earlier policy because Govt has taken our huge amount as they are taking Rs 450/ Rs 545/ and Rs 1250 per month from our PF a/c since the 1995.Pl.calculate this amt. It will be Rs8Lac to 12Lac and if we take S C S Scheme we will take appro. Rs 8000 or 9000 per month as against Rs 2700 per month and after death the our amt will be playable to our children. As per present Govt policy the entire amt id going to Govt after our death. So pl think over with deeply.
That is why the BJP did not get majority seats in Loksabha curse from all Pensionser .